RJ कार्तिक की किताब ‘कर दिखाओ कुछ ऐसा’ मोटिवेशनल तो है ही इसमें ऐसी अद्भुत कहन और किस्सागोई है कि लगता है किताब नहीं पढ़ रहे कार्तिक को रूबरू सुन रहे हैं. 21 चैप्टर्स में ज़िंदगी के 21 पहलुओं को समेटे ‘कर दिखाओ कुछ ऐसा’ में RJ कार्तिक आपको, परिवार, ऑफिस, मन और अध्यात्म के बहुत सारे डायमेंशंस में सहजता से ले चलते हैं और गहराई के साथ चिंतन करने की जगह पर पहुँचा देते हैं. कार्तिक कहते हैं - ‘नज़रिया एक छोटी चीज़ है जो एक बड़ा अंतर पैदा कर देती है.' इस किताब से गुज़रने के बाद आप ज़िंदगी को पुराने नज़रिए से नहीं देखते, भीतर ऐसा कुछ बदल जाता है जो आपको शांत, एकाग्र और अधिक क्रियेटिव बना देता है. एक ऐसी किताब जिसे हमेशा सिरहाने रख सकते हैं ... See more
RJ कार्तिक की किताब ‘कर दिखाओ कुछ ऐसा’ मोटिवेशनल तो है ही इसमें ऐसी अद्भुत कहन और किस्सागोई है कि लगता है किताब नहीं पढ़ रहे कार्तिक को रूबरू सुन रहे हैं. 21 चैप्टर्स में ज़िंदगी के 21 पहलुओं को समेटे ‘कर दिखाओ कुछ ऐसा’ में RJ कार्तिक आपको, परिवार, ऑफिस, मन और अध्यात्म के बहुत सारे डायमेंशंस में सहजता से ले चलते हैं और गहराई के साथ चिंतन करने की जगह पर पहुँचा देते हैं. कार्तिक कहते हैं - ‘नज़रिया एक छोटी चीज़ है जो एक बड़ा अंतर पैदा कर देती है.' इस किताब से गुज़रने के बाद आप ज़िंदगी को पुराने नज़रिए से नहीं देखते, भीतर ऐसा कुछ बदल जाता है जो आपको शांत, एकाग्र और अधिक क्रियेटिव बना देता है. एक ऐसी किताब जिसे हमेशा सिरहाने रख सकते हैं कि जब मन हुआ किसी भी जगह से खोलकर पढ़ लिया.