Suryakant Tripathi Nirala Ki Lokpriya Kahaniyan सूर्यकांत त्रिपाठी 'निराला' की लोकप्रिय कहानियाँ एक संग्रह है, जिसमें निराला की कुछ प्रमुख और प्रसिद्ध कहानियों को संकलित किया गया है। इस पुस्तक में निराला के कथा साहित्य का वह पक्ष प्रस्तुत किया गया है, जो उनके जीवन के गहरे अनुभवों, संवेदनाओं और समाज के विभिन्न पहलुओं को उजागर करता है। निराला की कहानियों में भारतीय समाज के विभिन्न पहलुओं, जैसे कि जातिवाद, असमानताएँ, संघर्ष और मानवता की गहरी समझ को बड़े प्रभावशाली तरीके से प्रस्तुत किया गया है।
9789390825974 Geetika Poems Book By Suryakant Tripathi Nirala in Hindi""गीतिका सूर्यकांत त्रिपाठी 'निराला' की एक प्रसिद्ध काव्यसंग्रह है, जो उनके साहित्यिक योगदान का एक महत्वपूर्ण हिस्सा ह�... See more
Suryakant Tripathi Nirala Ki Lokpriya Kahaniyan सूर्यकांत त्रिपाठी 'निराला' की लोकप्रिय कहानियाँ एक संग्रह है, जिसमें निराला की कुछ प्रमुख और प्रसिद्ध कहानियों को संकलित किया गया है। इस पुस्तक में निराला के कथा साहित्य का वह पक्ष प्रस्तुत किया गया है, जो उनके जीवन के गहरे अनुभवों, संवेदनाओं और समाज के विभिन्न पहलुओं को उजागर करता है। निराला की कहानियों में भारतीय समाज के विभिन्न पहलुओं, जैसे कि जातिवाद, असमानताएँ, संघर्ष और मानवता की गहरी समझ को बड़े प्रभावशाली तरीके से प्रस्तुत किया गया है।
9789390825974 Geetika Poems Book By Suryakant Tripathi Nirala in Hindi""गीतिका सूर्यकांत त्रिपाठी 'निराला' की एक प्रसिद्ध काव्यसंग्रह है, जो उनके साहित्यिक योगदान का एक महत्वपूर्ण हिस्सा है। यह पुस्तक उनकी कविता की विशेष शैली और विचारधारा का जीवंत उदाहरण है। गीतिका में निराला ने जीवन, प्रेम, आस्था, संघर्ष और समाज की विभिन्न स्थितियों पर कविताएँ लिखी हैं, जो उनकी गहरी और संवेदनशील सोच को दर्शाती हैं।गीतिका में निराला ने छोटे-छोटे गीतों के रूप में अपनी भावनाओं को व्यक्त किया है। इन कविताओं में निराला की संवेदनशीलता, मानवता, और प्राकृतिक सौंदर्य का वर्णन मिलता है। वे जीवन के विभिन्न पहलुओं को सरल लेकिन गहरे रूप में पेश करते हैं। गीतिका की कविताओं में एक विशेष तरह की लयबद्धता और संगीतात्मकता पाई जाती है, जो पाठक को एक नई दुनिया में प्रवेश कराती है।""
9789390825417 Billesur Bakariha Novel Book By Suryakant Tripathi Nirala in Hindi""बिलेसुर बकरीहा सूर्यकांत त्रिपाठी 'निराला' द्वारा लिखित एक महत्वपूर्ण उपन्यास है, जो उनके साहित्यिक योगदान का एक महत्वपूर्ण हिस्सा है। यह उपन्यास समाज के विभिन्न पहलुओं को उद्घाटित करता है और उन जटिलताओं को दिखाता है जो उस समय के समाज में व्याप्त थीं।बिलेसुर बकरीहा की कहानी एक छोटे से गाँव की पृष्ठभूमि पर आधारित है, जहाँ मुख्य पात्र बिलेसुर नामक एक चरवाहा है। यह उपन्यास उसकी जीवन यात्रा, संघर्ष और उसके साथ होने वाली घटनाओं के माध्यम से समाज के सामाजिक और मानसिक दबावों को चित्रित करता है। बिलेसुर एक सामान्य आदमी है, जिसे अपनी अस्तित्व की लड़ाई लड़नी पड़ती है। उसका जीवन गरीबी, जातिवाद और अन्य सामाजिक असमानताओं से जूझते हुए चलता है।इस उपन्यास में निराला ने उस समय की ग्रामीण स्थिति, कामकाजी वर्ग की मुश्किलें, और आम आदमी की संवेदनाओं को बड़ी बारीकी से चित्रित किया है। उपन्यास की कथा न केवल बिलेसुर के व्यक्तिगत संघर्ष की कहानी है, बल्कि यह समाज में व्याप्त कुरीतियों और असमानताओं को भी उजागर करती है। यह नायक का केवल व्यक्तिगत संघर्ष नहीं है, बल्कि यह समग्र समाज के विरोध और संघर्ष की भी कहानी है।""